$n$ एकसमान घनाकार गुटके एक दूसरे के समान्तर एक चिकने क्षैतिज पृष्ठ पर एक रेखा के अनुदिश विराम में स्थित हैं। किन्ही दो समीपस्थ गुटकों के पास वाले पृष्ठों की बीच की दूरी $L $ है। समय $t = 0$ पर, एक सिरे पर स्थित गुटके को $v$ चाल से दूसरे की ओर गतिशील किया जाता है। सभी संघट्ट पूर्णरूप से अप्रत्यास्थ हैं, तो
अन्तिम गुटका $t = \frac{{(n - 1)L}}{v}$ पर गति प्रारम्भ करेगा
अन्तिम गुटका $t = \frac{{n(n - 1)L}}{{2v}}$ पर गति प्रारम्भ करेगा
निकाय के द्रव्यमान केन्द्र की अन्तिम चाल $ v $ होगी
उपरोक्त एक भी नहीं
$n$ एकसमान घनाकार गुटके एक दूसरे के समान्तर एक चिकने क्षैतिज पृष्ठ पर एक रेखा के अनुदिश विराम में स्थित हैं। किन्ही दो समीपस्थ गुटकों के पास वाले पृष्ठों की बीच की दूरी $L $ है। समय $t = 0$ पर, एक सिरे पर स्थित गुटके को $v$ चाल से दूसरे की ओर गतिशील किया जाता है। सभी संघट्ट पूर्णरूप से अप्रत्यास्थ हैं, तो
चूँकि संघट्ट पूर्णत: अप्रत्यास्थ है अत: सभी गुटके परस्पर एक के बाद एक करके जुड़ जाते हैं, तथा संयुक्त द्रव्यमान के रूप में गति करते हैं।
प्रथम गुटके द्वारा $‘L’$ दूरी तय करने में लगा समय $ = \frac{L}{v}$
अब प्रथम तथा द्वितीय गुटका परस्पर जुड़कर $v/2$ वेग से (संवेग संरक्षण के नियम से) गति करते हैं तथा संयुक्त द्रव्यमान द्वारा तीसरे गुटके तक $ L$ दूरी तय करने में लगा समय $\frac{L}{{v/2}} = \frac{{2L}}{v}$ होगा। अब ये तीनों गुटके $ v/3$ वेग से गति करेंगे तथा संयुक्त निकाय द्वारा चौथे गुटके तक पहुँचने के लिए L दूरी तय करने में लगने वाला समय $\frac{L}{{v/3}} = \frac{{3L}}{v}$ होगा अत: कुल समय $ = \frac{L}{v} + \frac{{2L}}{v} + \frac{{3L}}{v} + ... + \frac{{(n - 1)L}}{v}$$ = \frac{{n(n - 1)L}}{{2v}}$ तथा n गुटकों के संयुक्त निकाय का वेग $\frac{v}{n}$
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